!!★★★ॐ★★★!!हर शब्द अमृतम….हमारा भोजन जहरीला भी हो सकता है।
पता लगाने के लिए पढ़े पुराणों में लिखी की पुराने महर्षि, वैज्ञानिक रिसर्च, खोज, शोध एक दम नवीन जानकारी-
मत्स्य पुराण में एक श्लोक के अनुसार… !!चकोरस्य विरज्येते नयने विष दर्शनार्थ!!
अर्थात-
अन्न आदि खाद्य-पदार्थों तथा खाने-पीने, भोजन में यदि विष मिला है, तो चकवा नाम का पक्षी अपनी आंखें मूंद लेता है।
जिससे यह पता लगा जाता है कि खाना जहरीला है।
प्राचीनकाल में बड़े-बड़े महान राजा – महाराजा सदैव अपने साथ चकवा पक्षी भोजन की शुद्धता परखने के लिए साथ रखते थे और अन्न का पहला निबाले को चकवा पक्षी को खिलाते थे। यदि वह भोजन देखकर आंख बंद कर लेता था एव निबाले नहीं खाता था, तो मालूम पड़ जाता था कि भोजन में विष या गरल मिला हुआ है।
अपने मन-मस्तिष्क को शान्त, तनावरहित,
ठंडा रखने के लिए माथे पर चन्दन का तिलक, त्रिपुण्ड या टीका अवश्य लगाएं।
वेद-पुराणों में चन्दन लगाने के 108 फायदे बताएं हैं। जानने के लिए 10000 दस हजार शब्दों का यह लेख नीचे लिंक क्लिक करके अवश्य पढ़ें।
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भोजन में विष का पता कैसे लगाएं….
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