- दुनिया में ऐसा कोई व्यक्ति नहीं है, जो विटामिन डी की कमी से ना जुझ रहा हो।
- विटामिन डी अगर सन्तुलित होगा, तो कभी भी हड्डी कमजोर खोखली नहीं होगी।
- शरीर में फुर्ती विटामिन डी के पर्याप्त होने से रहती है।
- कैसे दूर करें-विटामिन डी की कमी…कैल्शियम और फास्फोरस के स्तर को बनाए रखकर दांतों और हड्डियों को स्वस्थ रखता है।
- विटामिन डी इम्यूनिटी और तंत्रिकातंत्र के सही ढंग से काम करने के साथ इंसुलिन का स्तर बनाए रखने और डायबिटीज के प्रबंधन में काम आता है।
- कैंसर की रोकथाम, स्वस्थ गर्भावस्था व शिशु के विकास, जीवाणु-विषाणु संक्रमण रोकने, हृदय और परिसंचरण तंत्र को दुरुस्त रखने, पाचन तंत्र एवं किडनी के सही तरीके से काम करने के लिए उपयोगी है।
- कितना जरूरी विटामिन–डी… अगर खानपान में सही मात्रा में विटामिन डी नहीं ले रहे हैं, तो कम से कम नियमित सुबह के समय एक घण्टे की धूप पर्याप्त लेना आवश्यक है।
- मालिश अवश्य करें…साथ ही धूप में बैठकर आयुर्वेदिक औषधि तेलों से सम्पूर्ण शरीर की मालिश करके स्नान करें। मालिश कि लिए amrutam kayakey oil बेहतरीन है।
विटामिन डी की पूर्ति के लिए धूप में मालिश करने की कोशिश करें और आहार दोनों सही मात्रा में लें।
- अपने भोजन में विटामिन डी युक्त आहार शामिल करें… संतरा, चकोतरा, मशरूम, गाजर केवल सर्दी में खाएं। डेयरी उत्पाद जैसे गाय का दूध, दही, मक्खन, पनीर, टोफू, अंकुरित अनाज आदि ले सकते हैं।
- मौसम और डाइट वाले फोर्टिफाइड सोया मिल्क, बादाम मिल्क ले सकते हैं।
- मांसाहारी लोगों के लिए अंडा, मछली विशेषकर सामन और ट्यूना, रेड मीट, कॉड लिवर ऑयल विटामिन डी के अच्छे स्रोत हैं।
- हरड़ मुरब्बा, सहजना, दशमूल भी विशेष लाभकारी है। आप इससे निर्मित ऑर्थोकी गोल्ड माल्ट फायदा करेगा।
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