क्या आप लोग बता सकते है बजरंग बली का नाम मारुति क्यों रखा गया था?

  • मारुतिनंदन की 28 रहस्मयी जानकारियां….
  • मारुति का अर्थ है-वायु। यह 49 मरुत हैं, जिनके अधिपति हनुमानजी हैं। इनकी आराधना से जीवन वायु की तरह हल्का हो जाता है।
  • हनुमान जी ज्योतिष के भी प्रकांड विद्वान थे।
  • वेदों ने हनुमानजी को रूद्रावतार, अग्नि, प्राण आदि कहा गया है। इन्हें रक्षक देवता के रूप में पूजा जाता है।द्वारपाल, सन्तानदाता हनुमानजी का वृक्षों में निवास माना गया है। वृक्ष लगाने से हनुमानजी की सिद्धियां प्राप्त होती हैं, ऐसा पुराणों में उल्लेख है। भूत-प्रेत इनके स्मरण से दूर भागते हैं।
  • कभी भी घोर परेशानी के समय

जय-जय-जय हनुमान गुसाईं।

कृपा करो गुरुदेव की नाई।।

  • 40 बार जपने से कष्ट तत्काल दूर होते हैं।
  • मन्त्रमहोदधि ग्रन्थ के अनुसार शनि, राहु, केतु और सूर्य से पीड़ित जातक पहाड़ की ऊंचाई पर स्थित हनुमान मंदिर के 40 दिन तक पैदल जाकर 5 दीपक राहुकी तेल के जलाकर दर्शन करें, तो जेलों के बंधन से मुक्त होता है।
  • कर्जे से मुक्ति मिलती है। संहार, विनाश, प्रज्ज्वलन, प्रदीप्ति, सर्वभक्षण अग्नि के ही कर्म है। इसीलिए इन्हें रुद्र का अंश यानि भोलेनाथ का रूप वेदों में माना है।

श्री राम भक्त हनुमान 5 भाई थे….

  • मंगल के नक्षत्र चित्रा में मङ्गल को जन्मे, मङ्गल ही करते वीर हनुमान पांच भाई हैं। कभी देश के नामी-ग्रामी पहलवानों, ब्रह्मचारियों के आराध्य अब नेताओं के लिए राजनीति की धुरी बन गए हैं।
  • उनका मूल नाम महावीर छोड़कर कोई उन्हें बलि, तो कोई अली कहकर राजनीति कर रहे हैं।
  • पांच भाईयों में हनुमान ही पूज्यनीय क्यों?
  • हनुमान जी के 5 छोटे भाई भी थे जिनके नाम इस प्रकार हैं-

【१】मतिमान

【२】श्रुतिमान

【३】केतुमान

【४】गतिमान

【५】धृतिमान

  • यह सभी विवाहित थे। महावीर हनुमान की उपासना राष्ट्र को सुदृढ़, संगठित, सशक्त और शक्तिशाली बनाने के लिए कई युगों से की जा रही है।
  • अर्जुन ने विजय पाने के लिए कपि-ध्वज धारण किया था। देश-दुनिया में यह पहलवानों, चरित्रवानों के देवता कहलाते हैं।
  • हनुमानजी गाँव-गाँव पूजे जाने वाले लोकनायक हैं।मजदूर, मजबूर और मशहूर शहरी तथा ग्रामीण दोनों ही उनकी सामान रूप से पूजा करते हैं।

मन में अमन देने वाले देवता….

  • तन को पतन से बचाकर, मन में अमन देने वाले, थोड़ी सी प्रार्थना, प्रयत्न से प्रसन्न होने वाले परमवीर परमात्मा कलयुग के भगवान हैं।

स्कन्द पुराण, भविष्य पुराण…..की माने, तो इनका जन्म कार्तिक मास की चतुर्दशी यानि छोटी दीपावली को बताया गया है। इनका जन्म नक्षत्र चित्रा ओर स्वाति, मेष लग्न दिन मंगलवार का जन्म बताया है।

  • भगवान सूर्य इनके गुरुदेव हैं।
  • मुक्तिकोउपनिषद, रामपूर्व तापनिय उपनिषद, राम रहस्योउपनिषद आदि प्राचीन ग्रंथों में श्री हनुमान जी की बुद्धि के बारे में, उनकी प्रखरता के विषय में बहुत विस्तार से लिखा है।
  • हनुमाज्योतिष्म” ज्योतिष का चमत्कारी ग्रन्थ है।
  • हनुमान सहस्त्रनाम में इनको भगवान शिव का नंदी,
  • स्वर्णिम पर्वत की आभायुक्त “हेमशैलाभदेहम” लक्ष्मण के लिए शीघ्र संजीवनी बूटी लाने के कारण ‘मनोजवम’ उछल कुंद कर चलने के कारण पलवंगम, बड़ी पुच्छ के कारण लांगुली और सात करोड़ गायत्री मंत्रों से अभिमंत्रित शरीर का ब्रह्मचारी बताया गया है। हनुमानजी जी अष्टसिद्धि और नवनिधि के दाता भी कहे जाते हैं।

तन्त्र में हनुमान….

  • तांत्रिक ग्रंथों में एक मुख्य, पांच मुख और एकादश यानि 11 मुख के रूप में इनकी पूजा का विधान है। श्री राम कथा ने इनको प्रसिद्धि की चरमसीमा तक पहुंचा दिया।

जाने मङ्गल और मंगलवार के बारे में 28 रहस्यमयी तथा दुर्लभ बातें….यह सब जानकारी शास्त्रसम्मत है। आप पहली बार पढ़कर हैरान हो जाएंगे-

  • मंगलवार का व्रत उन्हीं लोगों को विशेष लाभकारी है, जो सबका मङ्गल करते रहते हैं या फिर उनमें मंगल करना कि भावना ज्यादा होती है
  • भला करने वाले सरल इंसानों को मंगवार का व्रत बहुत से बहुत फायदा होता है। द्वेष-दुर्भावना, जलस-कुढ़न, बुराई, बेईमानी, छल-कपट आदि वृत्तियों में लगे लोगों को मंगलवार का व्रत हानिकारक एवं सम्पत्ति-सन्तति का नाश हो जाता है।
  • मान्यता है कि महिलाएं मंगलवार का व्रत रखें, तो उन्हें क्रोध अधिक आता है। कहते हैं स्त्रियों में अपने परिवार पति-बच्चों के अलावा किसी अन्य का ज्यादा भला करने की सोच नहीं होती। इसलिए मंगलवार का व्रत महिलाओं को नुकसानदायक होता है।

रहस्यमयी और दुर्लभ जानकारी

【१】मंगल का एक नाम स्कन्ध भी है! मंगल का महत्व समझने के लिए आपको भूमिपुत्र स्कन्ध स्वामी, मंगलनाथ कार्तिकेय द्वारा रचित स्कंदपुराण का अध्ययन करना चाहिए। इस ग्रन्थ की रचना कार्तिकेय जी ने मल्लिकार्जुन ज्योतिर्लिंग शिवालय पर की थी।

【२】यह सृष्टि का सबसे विष ग्रन्थ है, जो 16/सोलह खंडों में है। स्कन्ध पुराण में 172000 एक लाख बहत्तर हजार श्लोक, मन्त्र ऋचाएँ लिखी हुई है।

【३】ज्योतिष खण्ड, शिवालय खण्ड एवं दरिद्रता से मुक्ति के इसमें बेहतरीन और चमत्कारी उपायों का वर्णन है। यह बहुत ही क्लिष्ट ग्रन्थ होने के कारण कोई भी कथाकासर, प्रवचन कर्ता, भागवताचार्य इसकी व्याख्या नहीं करते।

  • 【४】स्कंदपुराण में लगभग 84 हजार स्वयम्भू शिवलिंगों का वर्णन है, जिसमें 40 हजार से अधिक भगवान परशुरामजी ने खोजे, महर्षि अगस्त्य ने 12 हजार ढूढें। ऋषि व्यास ने 5500 के करीब मंदिरों की खोज की थी।
  • 【५】मंगलनाथ भगवान ही ब्रह्माण्ड एक मात्र मंगलकारी देवता है। इनके दर्शन-पूजा-उपासना-साधना और स्मरण से जमीन-जायदाद में अथाह वृद्धि होती है।इसे हमने भी आजमाया है।
  • 【६】कार्तिकेय के 6 मुख हैं। इन 6 मुखों के 6 मंदिर सकहिं भारत में स्थित हैं। अमृतम परिवार इन 6 मुखों के दर्शन का सौभाग्य प्राप्त हुआ है।
  • 【७】तिरुपति रहस्य नामक एक प्राचीन ग्रन्थ में उल्लेख है कि-हिमालय पुत्री तथा भगवान शिव की पत्नी माँ पार्वती का जन्म तिरुपति बालाजी मंदिर के परिसर में ही हुआ था।
  • 【८】बता दें कि- तिरुपति का मुख्य मूल मुख तिरुपति बाला जी में, दूसरा, पलनी तीर्थ, तीसरा, तिरुतनी, चौथा तिरुचन्दूर यह कामाक्षी मन्दिर के पाश है।
  • 【९】कार्तिकेय के बारे में सम्पूर्ण दुर्लभ जानकारी अमृतम पत्रिका की वेबसाइट amrutam patrika पर उपलब्ध है।
  • 【१०】शिवतन्त्र सहिंता के अनुसार…
  • मंगलवार के दिन एक बात विशेष ध्यान रखें कि – इस दिन किसी कर्ज ना लेकर कर्जा पटाना चाहिए। कितना ही बड़ा ऋण हो मंगलवार को थोड़ा थोड़ा देना शुरू कर दें। तुरन्त पत्नी लगता है।
  • 【११】यदि बैंक का लोन नहीं चुकता कर पा रहे हैं, तो हरेक मंगलवार को कुछ पैसे लिमिट या Loan एकाउंट में जरूर जमा कर दें।
  • 【१२】बुधवार को लिया गया कर्ज या Loan जल्दी पट जाता है।
  • 【१३】मङ्गल के दिन सफेद, पुष्प, सफेद मीठी वस्तु नन्दी या बेल, घोड़े को खिलाने से जमीन जरूर मिलती है। नया कारोबार शुरू होता है।
  • धन-सुख-समृद्धि वृद्धि के चमत्कारी योग-प्रयोग…
  • 【१४】(अघोरी की तिजोरी से साभार)
  • 【१५】मंगलवार का दिन भूमिपुत्र भगवान कार्तिकेय की माँ भूलक्ष्मी का दिन भी होता है।
  • 【१६】यह अष्टलक्ष्मीयों से एक है। ज्योतिष भाग्योदय रत्नाकर के अनुसार अगर मङ्गल को दुपहर 3.58 से 4.26 के बीच माँ लक्ष्मी या घर में रखे श्री यंत्र के चित्र पर तीन सफेद फूल अर्पित कर, अमृतम राहु की तेल के दो दीपक जलावें, तो घर में स्थिर लक्ष्मी का वास होता है।
  • 【१७】धन-संपदा रुकने लगती है। 54 दिन नियमित आजमाकर देखें।
  • 【१८】मस्तिष्क विकार, मानसिक अशांति, ग्रह क्लेश, कर्ज, तनाव, मुकदमा, विवाह में रुकावट, बच्चे न होना, पति से अनबन, पैसे की वसूली, आत्मविश्वास में कमी, डिप्रेशन एवं असाध्य रोगों से छुटकारा पाने का सिद्ध उपाय…

चौसठ दिन करें ये उपाय, तो बदल जाएगी तकदीर…

  • 【१९】मंगलवार को सुबह 4.03 से 4.19 के बीच अमृतम मधु पंचामृत एक चम्मच (स्पून टी) में 2 चम्मच दूध, 4 चम्मच जल, एक कालीमिर्च का पॉवडर मिलाकर शिवलिंग पर अर्पित कर एक दीपक देशी घी का जलाकर
  • 【२०】!!ॐ पितरेश्वराय नमः शिवाय च शिवाय नमः!!का 64 बार जाप करें। यह उपाय 64 दिन लगातार करना है।
  • 【२१】आग्रह…देश में कचरे की तरह पड़ी अपार सम्पदा हमारे प्राचीन ग्रन्थ, उपनिषद, पुराणों का अपनी मस्ती में से समय निकालकर अध्य्यन अवश्य करें।
  • 【२२】एक खास बात और परशुराम शतक नामक किताब और हनुमत कथासार के मुताबिक हनुमान जी सूर्य शिष्य एवं महादेव के रुद्रावतार हैं।
  • 【२३】यदि कर सको, तो 12 रविवार सुबह 3.56 से 459 के बीच हनुमान की उपादन करके देखो। अगर चमत्कार न होने लगे, तो कहना। इस उपाय से इतनी मन-आत्मा-बुद्धि को परम शांति मिलेगी की सारा मोह-माया, लोभ से मस्तिष्क का उच्चाटन हो जाएगा।
  • 【२४】कुछ न कर सकें तो, बाद इतना करें कि सुबह स्नान करके 11 माला…

जय जय जय हनुमान गुसाईं!

कृपा करो गुरुदेव की नाई!!

इसे अपनी नाभि को सुनाए।

  • 【२५】यह प्रयोग मुझे बेंगलोर से 45 किलोमीटर दूर तुमकुर नामक स्थान से 11 किलोमीटर घने जंगल में स्थित देवेन दुर्गा (DD हिल्स) की ऊंची पहाड़ी पर बसे लक्ष्मी नरसिम्हा मन्दिर में एक ब्रह्मचारी तपस्वी हनुमान साधक ने बताया था।
  • 【२६】इसे मैंने घोर विपत्ति-, गरीबी के दौर में यह उपाय 11 दिन किया तो जीवन ही बदल गया।
  • 【२७】दरअसल हम सब मेहनत तथा खोज नहीं करते, इसलिए भटक रहे हैं और हमारी आदत भी चिरस्थाई नही रहती।

कहा गया है कि- !!शिवः सङ्कल्पमस्तु!!

1 बार देखा गया

आयुर्वेदिक विशेषज्ञ से बात करें!

अभी हमारे ऐप को डाउनलोड करें और परामर्श बुक करें!

Comments

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *